Betul News – गौंडीघोघरा पंचायत में ठेकेदार के नाम पर फर्जी बिल लगाकर 5 लाख का गबन
अमृत सरोवर योजना में भ्रष्टाचार, ठेकेदार की शिकायत के बाद भी नहीं मिली बकाया रकम संभागायुक्त नर्मदापुरम् से की शिकायत
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बैतूल मिरर। आठनेर जनपद की ग्राम पंचायत गौंडी घोघरा में अमृत सरोवर योजना के तहत किए गए कार्य में बड़ा फर्जीवाड़ा सामने आया है। पंचायत सचिव राजकुमार गावंडे और अन्य जिम्मेदारों की मिलीभगत से ठेकेदार की मेहनत की कमाई पर बोगस फर्म के नाम से झूठे बिल बनाकर 5 लाख रुपये का भुगतान कर दिया गया।
शिकायतकर्ता लोकेश अडलक, ज्योति कंस्ट्रक्शन नामक फर्म के संचालक हैं, उन्होंने इस मामले की शिकायत संभागायुक्त नर्मदापुरम् से की है। उनके अनुसार, 2022-23 में अमृत सरोवर योजना के तहत गौंडी घोघरा पंचायत में जल संरक्षण का कार्य किया गया था।
ज्योति कंस्ट्रक्शन को 15 अप्रैल 2022 को वर्क ऑर्डर मिला था, जिसके बाद उन्होंने अपनी पोकलेन मशीन, जेसीबी, तीन डंपर और ट्रैक्टर किराए पर देकर कार्य पूरा किया।
आधे पैसे दिए, आधे फर्जी तरीके से निकाल लिए
इस काम के बदले फर्म को कुल 10 लाख रुपये मिलने थे, लेकिन पंचायत द्वारा केवल 5 लाख रुपये का भुगतान किया गया। बाकी 5 लाख रुपये कुछ ही दिनों बाद भुगतान होने की बात कही गई थी,
लेकिन बाद में ठेकेदार को पता चला कि इस राशि का फर्जी तरीके से गबन कर लिया गया। पंचायत सचिव ने कुछ अन्य लोगों के साथ मिलकर बोगस फर्म के नाम से झूठे बिल और वाउचर बनाकर पूरी रकम हड़प ली।
शिकायतों के बाद भी नहीं हुई कार्रवाई
ठेकेदार ने इस धोखाधड़ी की लगातार शिकायत की, लेकिन पंचायत और जिला प्रशासन से कोई ठोस कार्रवाई नहीं हुई। अब उन्होंने संभागायुक्त से गुहार लगाई है।
कि उनकी बकाया राशि वापस दिलाई जाए और फर्जी बिल बनाकर राशि आहरण करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाए।
अमृत सरोवर योजना में भ्रष्टाचार के आरोप
इस मामले ने अमृत सरोवर योजना की पारदर्शिता पर भी सवाल खड़े कर दिए हैं। यदि किसी ठेकेदार के साथ इस तरह की धोखाधड़ी हो सकती है, तो यह जांच का विषय है कि और कितने ऐसे मामलों में भ्रष्टाचार हुआ होगा।
ठेकेदार ने स्पष्ट रूप से पंचायत सचिव और अन्य जिम्मेदारों पर आरोप लगाया है कि उन्होंने साजिश के तहत इस घोटाले को अंजाम दिया।